रामानुजगंज! कुछ लोग पढ़े लिखे होकर भी अनपढो जैसा व्यवहार करते है उनको समझ में नहीं आता है कि किसी आवेदन का जवाब कैसे दिया जाये जो मन में आता है वहीं लिखकर आवेदक को जवाब भेज देते है। ऐसा ही एक कारनामा सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र के जनसूचना अधिकारी सह खंड चिकित्सा अधिकारी श्री कैलाश कैवर्थ मांगी गयी का जवाब देते समय अपनी क्षमता का प्रदर्शन किया है उनके द्वारा जानकारी देने के सन्दर्भ में जो मांग पत्र भेजा गया उसमे कई कमियाँ थी जो बचकाना लगती थी। सबसे पहले उनके द्वारा भेजी गयी पत्र 19/08/2021 की तारीख अंकित है मगर रजिस्टर्ड डाक लिफाफा पर डाक विभाग द्वारा चिपकाई गयी रसीद पर 28/10/2021 समय 12:32 मिनट है और डाक डिलीवरी 30/10/2021 है। इसके अलावा जन सुचना अधिकारी ने 315 पेज की जानकारी के लिए 630 रुपए का मांग शुल्क भेजा परन्तु 10 रुपए का छुट भी दिया गया है जो आवेदक को समझ नही आ रहा है। लगता है सुचना के अधिकार में ऐसा कोई नियम बनाया गया है क्या? इसके अतिरिक्त लिखते है जानकारी सलंग्न करके भेजी जा रही है जबकि एक ही पन्ने का पत्र भेजा गया है जिसमे जानकरी भेजना और मांग शुल्क दोनों का जिक्र है। अब सवाल ये उठता है कि अगर आपने जानकरी भेजा तो मांग शुल्क क्यों और यदि मांग शुल्क मांग रहे हो तो बिना मांग शुल्क लिए जानकारी सलंग्न कर भेजना दर्शाया है पर भेजा नहीं गया है। जिस लिफाफा में आपने पत्र भेजा है उसमें 315 पेज जन सुचना अधिकारी डाल कर दिखाए इसलिए पढ़े लिखे होकर भी अनपढो जैसा व्यवहार एक सक्षम अधिकारी को शोभा नहीं देता है।